सतà¥à¤¯à¥‡à¤¨à¥à¤¦à¥à¤° पीà¤à¤¸
सतà¥à¤¯à¥‡à¤¨à¥à¤¦à¥à¤° पीà¤à¤¸
सतà¥à¤¯à¥‡à¤¨à¥à¤¦à¥à¤° पीà¤à¤¸ का जनà¥à¤® 1975 में उतà¥à¤¤à¤° पà¥à¤°à¤¦à¥‡à¤¶ के गोरखपà¥à¤° ज़िले के छोटे से à¤à¤• गांव ननिहाल में हà¥à¤†. उन दिनों परिसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ और कà¥à¤› मजबूरियों की वजह से माता पिता बेघर थे. बाद में गोड़ा ज़िले के à¤à¤• अतà¥à¤¯à¤‚त पिछड़े गांव अषोकवापà¥à¤° में आषियाना बसाने की कवायद की, जहाठपà¥à¤°à¤¾à¤¥à¤®à¤¿à¤• शिकà¥à¤·à¤¾ मिलनी शà¥à¤°à¥‚ हà¥à¤ˆ. बचà¥à¤šà¥‹à¤‚ को बेहतर शिकà¥à¤·à¤¾ देने की माठकी ज़िद फिर गोरखपà¥à¤° खींच लाई, जहाठमाधà¥à¤¯à¤®à¤¿à¤• से लेकर बीà¤, à¤à¤®à¤, बीà¤à¤¡ आदि डिगà¥à¤°à¤¿à¤¯à¤¾à¤‚ बटोरीं. गोरखपà¥à¤° की रेलवे लाइबà¥à¤°à¥‡à¤°à¥€ ने à¤à¤¸à¤¾ बिगाड़ा कि यूनिवरà¥à¤¸à¤¿à¤Ÿà¥€ की किताबों से हटकर इधर उधर की किताबें पà¥à¤¨à¥‡ की आदत हो गई. पाठà¥à¤¯à¤•à¥à¤°à¤® व नौकरी केंदà¥à¤°à¤¿à¤¤ पà¥à¤¾à¤ˆ कà¤à¥€ हो ही नहीं पाई. घà¥à¤®à¤•à¥à¤•à¥œà¥€ और विà¤à¤¿à¤¨à¥à¤¨ धरना पà¥à¤°à¤¦à¤°à¥à¤¶à¤¨à¥‹à¤‚, गोषà¥à¤ ियों, चरà¥à¤šà¤¾à¤“ं की लत à¤à¥€ लग गई. बची खà¥à¤šà¥€ कसर काषी हिनà¥à¤¦à¥‚ विशà¥à¤µà¤µà¤¿à¤¦à¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯ में पतà¥à¤°à¤•à¤¾à¤°à¤¿à¤¤à¤¾ की पà¥à¤¾à¤ˆ के दौरान पूरी हो गई. डेॠदशक से ज़à¥à¤¯à¤¾à¤¦à¤¾ समय तक विà¤à¤¿à¤¨à¥à¤¨ अखबार, टीवी चैनलों की यातà¥à¤°à¤¾ करते हà¥à¤ सतà¥à¤¯à¥‡à¤¨à¥à¤¦à¥à¤° पिछले à¤à¤• दशक से आरà¥à¤¥à¤¿à¤• पतà¥à¤°à¤•à¤¾à¤°à¤¿à¤¤à¤¾ से जà¥à¥œà¥‡ हà¥à¤ हैं.
Romila Thapar
Romila Thapar (born 30 November 1931) is a distinguished Indian historian whose principal area of study is ancient India. She is the author of numerous substantial books including the popular class
Judith Butler
N/AJean-Paul Dumont
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N/ANiharika Popli
N/AAloysius Irudayam S.J.
Aloysius Irudayam S.J. is programme director of the Research, Advocacy, and Human Rights Education Department, Institute of Development Education, Action and Studies, Tamil Nadu.