कम्युनिस्ट पार्टी का घोषणापत्र
कम्युनिस्ट पार्टी का घोषणापत्र दुनिया की सबसे लोकप्रिय किताबों में से एक है।
आधुनिक विश्व के निर्माण में अब तक का कोई राजनीतिक लेखन इस घोषणापत्र से ज्यादा प्रभावशाली नहीं हुआ। क्रांति के आह्वान के लिए इससे पहले शायद ही कभी इतनी असरदार और ताकतवर भाषा का इस्तेमाल किया गया हो। एक सौ सत्तर से ज़्यादा साल बीत जाने के बाद आज भी कम्युनिस्ट पार्टी का घोषणापत्र उसी पैनेपन, सफाई और स्पष्टता से वर्तमान पूंजीवादी व्यवस्था की पोल खोलता है। इसीलिए दुनिया भर के शासक वर्ग इस घोषणापत्र से घबराते हैं, उसकी प्रासंगिकता से लगातार इंकार करते हैं।
यह किताब नहीं, हथियार है। दुनिया बदलने का हथियार।
सुभाषिनी अली का यह अनुवाद एक ताज़ा, जीवंत भाषा में इस कालजयी पाठ को दोबारा पढ़ने पर मजबूर करता है।
कम्युनिस्ट घोषणापत्र के मूल पाठ के अलावा इस संस्करण में, 1888 में एंगेल्स द्वारा लिखित अंग्रेज़ी संस्करण की भूमिका भी दी गई है। साथ ही, भारत में कम्युनिस्ट घोषणापत्र के अलग-अलग भाषाओं में प्रकाशन के इतिहास पर एक नोट भी शामिल है।